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शिक्षा के महत्व को समझते हुए शिक्षण कार्य करने के लिए भारत में एक विशेष डिग्री या डिप्लोमा हासिल करनी होती है। जिसे B.el.ed , D.el.ed या B.ed कहते है। अगर आपको सरकारी शिक्षक बनना है तो इन तीनों में से कोई एक डिग्री होनी चाहिए। इसके साथ ही केंद्रीय या राज्य स्तर की शिक्षक पात्रता परीक्षा पास कर राखी हो।
नयी शिक्षा नीति जो अभी लागू नहीं हुई है उसमें कहा गया है कि अगर आपको शिक्षक बनना है , चाहे वो सरकारी स्कूल हो या प्राइवेट , शिक्षक पात्रता परीक्षा सभी के लिए अनिवार्य कर दिया गया है। इसके बिना आप प्राइवेट स्कूल में भी नहीं पढ़ा पाएंगे।
चलिए हम लोग अब बात करते है तीनों कोर्स कि -
B.el.ed (bachelor of Elementary Education )
B.el.ed एक 4 वर्षीय स्नातक स्तर की डिग्री है, जो एक शिक्षक प्रशिक्षण पाठ्यक्रम है। यह कोर्स 12 पास करने के बाद किया जाता है। कक्षा 12 के बाद जो छात्र शिक्षक बनने का सपना देखते है उनके लिए बेहतर विकल्प है। क्योंकि इससे आपके दो फायदे है पहला इसमें स्नातक की पढाई के साथ एक साल का व्यावहारिक प्रशिक्षण भी शामिल है। दूसरा यह कोर्स करने से आपका एक साल का समय बच जायेगा।
B.el.ed में एक वर्ष का व्यवहारिक प्रशिक्षण रहेगा और बाकी 3 वर्ष का आपके द्वारा चुने हुए स्ट्रीम पर आधारित प्रशिक्षण होगा। Admission के समय जो stream आप चुनते हो जैसे B.A , B.com, और B.Sc. बाकी 3 वर्ष आपको इसी का अध्ययन करना है।
B.el.ed कोर्स में Admission लेने के राज्य स्तर पर प्रवेश परीक्षा आयोजित की जाती है , जिसके तहत मेरिट बनती है और उस मेरिट के अनुसार आप संस्थान चुन सकते हो।
D.el.ed (Diploma In Elementary Education )
यह कोर्स किसी-किसी राज्य में 12 के बाद भी होता है तो किसी राज्य में स्नातक के बाद। मैं आपको उत्तर प्रदेश का उदाहरण लेकर समझाऊंगा इस कोर्स बारे में। उत्तर प्रदेश में D.el.ed कोर्स में वही छात्र और छात्रा दाखिला ले सकते है जिन्होंने स्नातक कर लिया हो।
इस कोर्स में admission , सरकारी संस्थाओं और प्राइवेट संस्थाओं में मेरिट के आधार पर होता है। जिन छात्रों की मेरिट अच्छी होती है उनको सरकारी शिक्षण प्रशिक्षण संस्थान मिल जाता है।
छात्रों को मेरिट उनके हाई स्कूल , इंटर और स्नातक के अंको को जोड़कर बनाई जाती है। यह कोर्स करने वाले अभ्यार्थी प्राथमिक और उच्च प्राथमिक में शिक्षक बन सकते है बस।
B.ed (Bachelor of Education )
ज्यादा तर छात्र यही कोर्स के बारे में जानते है। क्योंकि 100 में से 60 प्रतिशत बच्चे इसी कोर्स में दाखिला लेते है। इस कोर्स की खूबी यह है की इसको करने के बाद आप कक्षा 1 से 12 तक के बचो को पढ़ाने के योग्य हो जाओगे।
B.ed कोर्स सभी राज्यों द्वारा कराया जाता है। इसके लिए सभी राज्य प्रति वर्ष प्रवेश परीक्षा आयोजित करती है। जिसके लिए न्यूनतम योग्यता स्नातक पास कम से कम 50 प्रतिशत अंक होने चाहिए । तभी आप इस प्रवेश परीक्षा में शामिल हो सकते हो। प्रवेश परीक्षा में प्राप्त अंको के आधार पर आपकी मेरिट बनेगी। जिसके आधार पर आपको सरकारी या प्राइवेट संस्थान चुनने का मौका मिलेगा।
यह कोर्स 2 वर्ष का होता है। इसके बाद अगर आपको सरकारी शिक्षक बनना है तो उसके लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा पास करनी पड़ेगी और सरकार द्वारा आयोजित परीक्षा को पास कर आप सरकारी शिक्षक बन सकते हो। केन्द्र और राज्य सरकारे समय -समय पर TGT और PGT की नौकरी निकालती रहती है , जिसके लिए आप योग्य हो B.ed करने के बाद।
निष्कर्ष पर पहुंचते है और आपको समझाते है इन तीनों में से कौनसा कोर्स आपके लिए बेहतर हो सकता है। -
- तीनों ही कोर्स शिक्षक बनने के लिए ही किये जाते है।
- B.el.ed कोर्स यह अभी जल्दी में शुरू हुआ हैं और अधिकांश छात्रों को इसके बारे में जानकारी नहीं है , जिनको है वह लोग इसी कोर्स में admission ले रहे है। इससे आप 4 साल में ही शिक्षक बन जाओगे।
- D.el.ed अच्छा कोर्स है पर इससे आप प्राथमिक और उच्च प्राथमिक में ही शिक्षक बन सकते हो पर अब B.ed को भी प्राथमिक में शामिल कर लिया है जिससे यह कोर्स करके आप 1 से 8 तक ही पढ़ा पाओगे।
- B.ed करने से अब आप किन्हीं -किन्हीं राज्यों में कक्षा 1 से 12 तक में सरकारी शिक्षक बन सकते हो।
- D.el.ed में जहां पर आपको शैक्षिक अंको के मेरिट के आधार पर Admission मिलता है।
- वही B.el.ed और B.ed में प्रवेश परीक्षा देने के बाद बनी मेरिट लिस्ट के आधार पर कॉलेज मिलता है।
- D.el.ed और B.ed स्नातक के बाद किया जा सकता है ,जिससे आपको शिक्षक बनने में 5 वर्ष लगते है। वही B.el.ed करने से आप 4 वर्ष में शिक्षक बन जाओगे और आपका 1 साल बच जाता है।
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